
रविवार देर शाम को ताजा बर्फबारी के बाद मनाली के हामटा और जलोड़ी दर्रा में फंसे सैकड़ों सैलानियों को सुरक्षित निकाला गया। कड़ाके की ठंड में स्थानीय प्रशासन ने देर रात तक बचाव अभियान चलाकर सैलानियों को उनके ठिकानों तक पहुंचाया। कुछ सैलानियों ने हामटा में वाहनों में रात बिताई। हामटा और जलोड़ी दर्रा में करीब छह घंटे चले बचाव अभियान में दोनों जगह से 400 से अधिक सैलानियों को निकाला गया। इसके लिए प्रशासन ने पुलिस, होटलियरों, टैक्सी यूनियन, अग्निशमन विभाग के साथ स्थानीय लोगों की मदद ली। बचाव अभियान देर रात तीन बजे तक चला। प्रशासन ने फोर बाई फोर वाहनों के साथ कई सैलानियों को पैदल निकाला है। 10 हजार से अधिक ऊंचाई पर स्थित हामटा और जलोड़ी दर्रा में फंसे सैलानियों को भले ही निकाला गया हो, लेकिन पर्यटक वाहन अभी भी फंसे हैं।
इन्हें निकालने में एक से दो दिन लग सकते हैं। रविवार को सैलानियों के लिए अटल टनल बंद रही। हामटा पास, बंजार की तीर्थन और जिभी वैली में आए सैलानी सैर-सपाटे के लिए जलोड़ी दर्रा, सोझा और रघुपुरगढ़ की तरफ निकले थे। शाम के समय हुई ताजा बर्फबारी में फंस गए। जेवीटीडीए, टैक्सी यूनियन के सदस्य संदीप कंवर, खेम वर्मा, लवली नेगी, लाल सिंह, अमित, संजू, ईशान, दुनी चंद, रोनित ठाकुर और निहाल ने पुलिस और अग्निशमन विभाग के साथ मिलकर पर्यटकों को जिभी पहुंचाया। मनाली के हामटा में फंसे सैलानियों को डीएसपी मनाली की मदद से सुरक्षित निकाले गए। उपायुक्त आशुतोष गर्ग ने कहा कि सैलानी खराब मौसम को देखकर ही सैर-सपाटे को निकलें। हामटा और जलोड़ी में फंसे पर्यटकों को सुरक्षित निकाला गया है।
खज्जियार के खजरोट नाले में फंसे पर्यटकों को सुरक्षित निकाला
उधर, खज्जियार से वापस डलहौजी जाते समय 40 पर्यटक वाहन बर्फ के बीच खजरोट नाले में फंस गए। पुलिस और स्थानीय लोगों ने रात को रेस्कयू कर 150 पर्यटकों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया। कुछ पर्यटकों को लक्कड़ मंडी तो कुछ को डलहौजी सुरक्षित पहुंचाया गया। रविवार शाम छह बजे जब पर्यटन स्थल खज्जियार में बर्फबारी शुरू हुई तो पर्यटकों ने उसमें जमकर मौज मस्ती की। सात बजे जब डलहौजी में ठहरे पर्यटक गाड़ियों में सवार होकर लौटने लगे। लक्कड मंडी के पास उपरोक्त नाले में बर्फ के बीच उनके वाहन फंस गए। पर्यटकों के फंसने की सूचना मिलते ही खज्जियार से स्थानीय लोग मदद के लिए अपने वाहन लेकर मौके पर पहुंच गए। इसके साथ चंबा और डलहौजी से पुलिस दल भी मदद के लिए पहुंच गए। पुलिस के अलावा सेना के जवान भी वहां पहुंच गए। देर रात तक पर्यटकों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचाने के लिए रेस्कयू चलता रहा।
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